अंतर्राष्ट्रीय मिलेट्स ईयर-2023: जागरूकता कार्यक्रम हुआ आयोजित

 अंतर्राष्ट्रीय मिलेट्स ईयर-2023: जागरूकता कार्यक्रम हुआ आयोजित

उदयपुर 15 मार्च। वर्ष 2023 को अंतरराष्ट्रीय मिलेट्स ईयर के रूप में विश्वभर में मनाया जा रहा है। बदलते दौर में मिलेट्स यानि मोटे अनाज खाने की परम्परा छूटती जा रही है और मानव कई आधुनिक बीमारियों से घिरता जा रहा है।

आमजन को पुनः मोटे अनाजों की उपयोगिता समझाने और इसके उपभोग को बढ़ाने के लिए एक जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन नगर निगम सभागार में बुधवार सुबह जिला कलेक्टर तारा चंद मीणा के मुख्य आतिथ्य में आयोजित हुआ। यहाँ संयुक्त निदेशक (चिकित्सा) डॉ जुल्फिकार काजी, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ शंकर बामनिया, अतिरिक्त मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ रागिनी डामोर सहित अन्य चिकित्सा अधिकारी उपस्थित रहे।

कार्यक्रम जिलेभार से चिकित्सा संस्थाओं के कर्मचारी और नर्सेज़ आदि उपस्थित रहे जिन्होंने जागरूकता कार्यक्रम से मिलेट्स की उपयोगिता जानी।

स्वास्थ्य के लिए अति लाभदायक हैं मिलेट्स – कलेक्टर
जिला कलेक्टर ताराचंद मीणा ने अपने वक्तव्य में कहा कि एक समय था जब गांवों में लोग मोटे अनाज का अधिक उपयोग करते थे। तब उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता शहरों में रहने वाले लोगों की तुलना में काफी अधिक हुआ करती थी लेकिन अब तो गांवों में भी मोटे अनाज खाने की परंपरा छूटती जा रही है जिससे मानव स्वास्थ्य को नुकसान हुआ है। उन्होंने कार्यक्रम में पहुंचे सभी संभागियों से अपील कर कहा कि सप्ताह में कम से कम से दो बार मिलेट्स का अवश्य सेवन करें और आस-पास के अन्य लोगों को भी जागरूक करें।

मॉडर्न फूड हैबिट्स से हेल्थ को हुआ नुकसान – डॉ काजी
कार्यक्रम में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ काजी ने कहा कि मिलेट्स को उगाना आसान है एवं इसके उपयोग से कई प्रकार के स्वास्थ्य लाभ प्राप्त होते हैं। उन्होंने कहा कि आज मॉडर्न फूड हेबिट्स से हम कई बीमारियों जैसे मधुमेह, उच्च या निम्न रक्तछाप, मोटापे आदि से घिरते जा रहे हैं। ऐसे में मिलेट्स इन रोगों से लड़ने में हमारी मदद करते हैं और रोग प्रतिरोधक क्षमता में भी वृद्धि करते हैं। हमें पुनः अपने परंपरागत खाद्य पदार्थों की ओर लौटने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि हम सभी का दायित्व है कि आस-पास के लोगों को मिलेट्स खाने के लिए प्रेरित करें क्योंकि ये सस्ते हैं और लाभदायक भी। साथ ही इन्हें संरक्षित करके रखना भी आसान है। इस प्रकार सीएमएचओ डॉ शंकर बामनिया ने भी मिलेट्स की उपयोगिता पर प्रकाश डाला और सभी से इसके अधिकाधिक उपयोग करने की अपील की।  

मिलेट्स आधारित प्रदर्शनी का किया उद्घाटन
सत्र को संबोधित करने के बाद कलेक्टर एवं अन्य अतिथियों ने नगर निगम परिसर में लगाई गई मिलेट्स आधारित प्रदर्शनी का उद्घाटन कर अवलोकन किया। इस दौरान कलेक्टर ने मिलेट्स से बनने वाले विभिन्न खाद्य पदार्थों की जानकारी ली और उपस्थित लोगों ने इनका अधिकाधिक प्रचार करने के निर्देश दिए।

कई गुणों से भरपूर होते हैं मिलेट्स
विशेषज्ञों के अनुसार मिलेट्स की दो व्यापक श्रेणियां होती है- मेजर और माइनर। मेजर श्रेणी में बाजरा, ज्वार, रागी और कंगनी आते हैं तथा माइनर में समा, कोदो, चिन्ना इत्यादि को लिया जाता है। हर एक मिलेट का अपना महत्व है। जैसे कि बाजरा, कैल्शियम से भरा होता है, ज्वार में पोटेशियम और फास्फोरस होता है, और कंगनी में फाइबर होता है जबकि कोदो आयरन से भरपूर होता है। इसलिए हमें सभी तरह के मिलेट्स खाते रहना चाहिए। मिलेट्स ब्लड ग्लूकोज लेवल को मेंटेन करते हैं, वजन घटाने में मदद करते हैं, दिल के लिए अच्छे होते हैं, कैंसर सेल्स से फाइट करते हैं और पाचनक्रिया बेहतर करते हैं।

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